इसके मुँह से चींटियाँ निकलती हैं

और जो भी देखता है कि चींटियां उसके मुंह से या उसकी नाक से निकलती हैं, वह उसके विनाश की व्याख्या करेगा, और यह कहा गया था कि चींटियों की दृष्टि चोरों द्वारा व्याख्या की जाती है ।